Electric Vehicle Policy: दिल्ली सरकार जल्द ही नई इलेक्ट्रिक वाहन (EV) नीति लाने की तैयारी कर रही है. जिसका उद्देश्य है ग्रीन मोबिलिटी को अपनाना, रोजगार के अवसर बढ़ाना और चार्जिंग इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करना. यह नीति मौजूदा EV नीति की जगह लेगी. जिसे जुलाई मध्य तक बढ़ाया गया है.
परिवहन विभाग के अनुसार सरकार चाहती है कि हर 5 किलोमीटर पर कम लागत वाले और तेज EV चार्जिंग स्टेशन स्थापित किए जाएं ताकि इलेक्ट्रिक वाहनों को अपनाने में किसी को रुकावट न हो.
बैटरी बदलने और कबाड़ नीति को मिलेगा बढ़ावा
नई नीति में खासतौर पर बैटरी स्वैपिंग (बदलने) की सुविधाओं को बढ़ावा देने की योजना है. साथ ही EV किट लगाने वालों को प्रोत्साहन और पुराने वाहनों को कबाड़ में बदलने को लेकर भी दिशा-निर्देश बनाए जाएंगे. जिससे शहरी प्रदूषण को कम किया जा सके.
EV कॉरिडोर से खत्म होगी रेंज एंग्जायटी
एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि नई नीति में EV कॉरिडोर तैयार करने की योजना भी है, जिसे आउटर रिंग रोड के किनारे विकसित किया जा सकता है. यह रास्ता दिल्ली के सबसे व्यस्त मार्गों में शामिल है और कई प्रमुख स्थानों को जोड़ता है.
चार्जिंग स्टेशन को फ्लाईओवर के नीचे और खाली जगहों पर लगाया जाएगा ताकि यातायात बाधित न हो. इसके अलावा प्रवेश और निकास मार्गों को इस तरह से डिजाइन किया जाएगा कि वाहन चालकों को परेशानी न हो. इस रणनीति से EV यूज़र्स की ‘रेंज एंग्जायटी’ (चार्जिंग खत्म होने का डर) को काफी हद तक कम किया जा सकेगा.
20,000 से ज्यादा नई नौकरियों का लक्ष्य
अधिकारियों ने जानकारी दी कि EV नीति का एक महत्वपूर्ण उद्देश्य रोजगार के नए अवसर पैदा करना है. सरकार का लक्ष्य है कि कम से कम 20,000 नई नौकरियां इस नीति से उत्पन्न हों. चार्जिंग नेटवर्क का विस्तार और बैटरी स्वैपिंग इंफ्रास्ट्रक्चर स्थापित करना इस रोजगार सृजन अभियान का मुख्य हिस्सा होगा.
2020 की मौजूदा नीति के तहत क्या मिलते हैं लाभ
दिल्ली की मौजूदा EV नीति, जो 2020 में लागू हुई थी, ने इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने में अहम भूमिका निभाई है. इसमें कई तरह की सब्सिडी दी जाती हैं:
- इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों पर प्रति kWh ₹5,000 तक की सब्सिडी, अधिकतम ₹30,000 तक.
- ई-रिक्शा और ई-कार्ट के लिए ₹30,000.
- ई-साइकिल पर ₹5,500 या कीमत का 25%.
- ई-लाइट कमर्शियल वाहन के लिए ₹30,000.
इस नीति को 15 अप्रैल 2025 के बाद तीन महीने के लिए बढ़ाया गया है और इसके तहत मिल रहे प्रोत्साहन ने EV बिक्री को गति दी है.
2027 तक 95% नए वाहन होंगे इलेक्ट्रिक
सरकार का लक्ष्य है कि 2027 तक दिल्ली में पंजीकृत 95% नए वाहन इलेक्ट्रिक हों. इसके लिए EV चार्जिंग स्टेशन और बैटरी स्वैपिंग नेटवर्क को सभी क्षेत्रों में सुलभ बनाया जाएगा. यह कदम शहरी प्रदूषण के स्तर को घटाने और स्वच्छ ऊर्जा को बढ़ावा देने की दिशा में महत्वपूर्ण साबित होगा.
पुराने वाहनों पर प्रतिबंध का प्रस्ताव फिलहाल स्थगित
हाल ही में सरकार ने EV नीति के मसौदे में शामिल उस प्रस्ताव को वापस ले लिया. जिसमें CNG ऑटो और पेट्रोल/डीजल दोपहिया वाहनों के पंजीकरण को 2025 और 2026 से प्रतिबंधित करने की बात थी. परिवहन मंत्री पंकज सिंह ने साफ किया है कि CNG वाहनों को अनिवार्य रूप से इलेक्ट्रिक में बदलने की कोई योजना नहीं है और दोपहिया वाहनों पर भी कोई अनिवार्य प्रतिबंध लागू नहीं होगा.