New Railway Line: रेलवे अब जेवर इंटरनेशनल एयरपोर्ट को रेलवे नेटवर्क से जोड़ने की दिशा में तेज़ी से काम कर रहा है. खासतौर पर अलीगढ़ जंक्शन से एयरपोर्ट तक सीधी ट्रेन चलाने की योजना पर काम शुरू हो गया है. यह रेल संपर्क डिफेंस कॉरिडोर, एएमयू, हार्डवेयर उद्योग और शिक्षा जगत के लिए भी काफी अहम माना जा रहा है.
चोला स्टेशन से जेवर तक बिछेगी 23.5 किमी लंबी नई लाइन
अलीगढ़ से करीब 58 किलोमीटर दूर चोला रेलवे स्टेशन से लेकर जेवर इंटरनेशनल एयरपोर्ट तक 23.5 किलोमीटर लंबी नई रेलवे लाइन बिछाई जाएगी. इस परियोजना का सर्वे कार्य शुरू कर दिया गया है. लाइन पूरी होने के बाद अलीगढ़ से जेवर एयरपोर्ट की कुल दूरी 81 किलोमीटर रह जाएगी. जिसे ट्रेन एक घंटे में तय कर सकेगी.
अलीगढ़ जंक्शन की रणनीतिक अहमियत
दिल्ली-हावड़ा रेलवे रूट पर स्थित अलीगढ़ जंक्शन शुरू से ही उत्तर भारत का एक महत्वपूर्ण रेलवे स्टेशन रहा है. अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी (AMU) के कारण यहां देशभर से छात्र आते हैं. साथ ही विदेशी शिक्षाविदों और उद्यमियों का भी लगातार आना-जाना बना रहता है. साथ ही यहां राजा महेंद्र प्रताप सिंह राज्य विश्वविद्यालय की स्थापना भी हो रही है.
विदेशों से उद्योगों को मिलेगा बेहतर संपर्क
डिफेंस कॉरिडोर में कई अंतरराष्ट्रीय औद्योगिक इकाइयां स्थापित हो रही हैं. जिससे विदेशी निवेशकों और उद्योगों को तेज संपर्क की आवश्यकता होगी. जेवर एयरपोर्ट से सीधा रेल कनेक्शन अलीगढ़ को वैश्विक मानचित्र पर और मजबूत करेगा. जिससे निवेश और पर्यटन दोनों को बढ़ावा मिलेगा.
दिल्ली-मुंबई और दिल्ली-हावड़ा रूट से जुड़ाव
इस नई रेल लाइन का विस्तार चोला से जेवर होते हुए पलवल तक किया जाएगा. जिससे यह दिल्ली-मुंबई और दिल्ली-हावड़ा रूट से जुड़ सकेगा. चोला से रुंधी तक लगभग 61 किलोमीटर लंबी इस लाइन का निर्माण रेलवे की बड़ी योजना का हिस्सा है.
वंदे भारत जैसी तेज ट्रेनें चलाने की योजना
रेलवे की योजना है कि इस नए ट्रैक पर वंदे भारत या अन्य हाई-स्पीड ट्रेनों का संचालन किया जाए. इससे यात्रियों को कम समय में बेहतर सुविधाएं मिलेंगी और व्यापारिक गतिविधियों को भी नई रफ्तार मिलेगी.
आयात-निर्यात और यात्रियों को मिलेगा फायदा
इस रेल कनेक्टिविटी से आयात-निर्यात को तेज गति मिलेगी. साथ ही आम यात्रियों को भी बिना ट्रैफिक के झंझट के एक घंटे में एयरपोर्ट पहुंचने की सुविधा मिल जाएगी. रेलवे लगातार इस दिशा में प्रयास कर रहा है कि क्षेत्रीय यात्रियों को बेहतर, तेज और सुरक्षित परिवहन सेवाएं मिल सकें.
सर्वे जारी, जल्द होगी परियोजना को मंजूरी
उत्तर मध्य रेलवे मंडल, प्रयागराज के सीपीआरओ शशिकांत त्रिपाठी ने बताया कि इस परियोजना का सर्वे तेजी से चल रहा है और जैसे ही मंजूरी मिलती है, निर्माण कार्य शुरू कर दिया जाएगा. यह रेलवे लाइन भविष्य की मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी का अहम हिस्सा बनेगी.