Heatwave Scheme 2025: गर्मी की मार झेलने वाली कामकाजी महिलाओं के लिए बिहार सरकार ने एक अनोखी पहल की है. अब तापमान 40 डिग्री सेल्सियस से अधिक होते ही असंगठित क्षेत्र में काम करने वाली महिलाओं को हर दिन ₹300 की आर्थिक सहायता दी जाएगी. यह योजना हीटवेव इंश्योरेंस के अंतर्गत चलाई जा रही है.
किसे मिलेगा इस योजना का लाभ?
इस योजना का लाभ बिहार के आठ जिलों – पटना, गया, मुंगेर, भागलपुर, बांका, कटिहार, पूर्णिया और सीवान में रहने वाली असंगठित क्षेत्र की महिलाएं उठा सकेंगी. इसमें घरेलू कामगार, खेत मजदूर, पशुपालन, सिलाई-कढ़ाई और अन्य कामकाजी महिलाएं शामिल हैं.
क्या है हीटवेव इंश्योरेंस स्कीम?
हीटवेव इंश्योरेंस एक ऐसा बीमा है. जिसके अंतर्गत जब भी तापमान 40°C से अधिक होता है, तो बीमित महिला को प्रति दिन ₹300 की राशि उसके बैंक खाते में ट्रांसफर की जाती है. इस बीमा का उद्देश्य जलवायु परिवर्तन से प्रभावित महिलाओं को आर्थिक राहत देना है.
कब से और कैसे लागू होगी योजना?
यह योजना अप्रैल से सितंबर 2025 तक लागू रहेगी. इसका संचालन अहमदाबाद स्थित ट्रेड यूनियन संगठन सेवा (SEWA) द्वारा किया जा रहा है. सेवा संगठन की संस्थापक प्रसिद्ध गांधीवादी नेता इला भट्ट रही हैं. देशभर में 30 लाख महिलाएं सेवा संगठन से जुड़ी हुई हैं. इस परियोजना को अंतरराष्ट्रीय संस्था CRA (Climate Resilience for All) के सहयोग से लागू किया गया है.
भुगतान की प्रक्रिया और बैंक की भूमिका
आईसीआईसीआई बैंक (ICICI Bank) इस बीमा योजना में भुगतान का माध्यम है. तापमान की गणना मौसम विभाग के आंकड़ों से की जाती है और फिर उसी आधार पर राशि संबंधित महिला के खाते में जमा कर दी जाती है.
पहले थी फीस, अब सुविधा मुफ्त
शुरुआत में बीमा के लिए ₹300 की फीस ली जा रही थी. लेकिन अब इस प्रक्रिया को पूरी तरह नि:शुल्क कर दिया गया है. यानी अब कोई भी पात्र महिला बिना किसी शुल्क के बीमा में शामिल हो सकती है और गर्मी के दौरान सहायता पा सकती है.
बीमा के लिए क्या करना होगा?
बीमा कराने के लिए महिला को सेवा संगठन का सदस्य बनना होगा. इसके बाद उसे
- आधार कार्ड
- बैंक खाता संख्या
- मोबाइल नंबर देना होगा.
फिर संबंधित महिला का हीटवेव इंश्योरेंस पंजीकरण कर दिया जाएगा. सभी आठ जिलों में सेवा के स्थानीय कार्यालय पर यह प्रक्रिया पूरी की जा सकती है.
कितनी महिलाओं को जोड़ा जाएगा?
इस योजना का लक्ष्य बिहार की करीब डेढ़ लाख महिलाओं को इस बीमा योजना से जोड़ने का है. यह योजना बिहार में पहली बार पायलट प्रोजेक्ट के रूप में शुरू की गई है और भविष्य में दूसरे जिलों में भी विस्तार की संभावना है.
अन्य राज्यों में भी हुआ विस्तार
राजस्थान, गुजरात और महाराष्ट्र जैसे राज्यों में यह बीमा पिछले साल पायलट आधार पर लागू किया गया था. जिसमें महिलाओं को ₹1600 से ₹2000 तक की सहायता मिली थी. इस साल योजना का विस्तार बिहार के अलावा यूपी, असम और जम्मू-कश्मीर तक किया गया है.